वाहनों के विंडस्क्रीन पर फास्टैग लगाना अनिवार्य 

नई दिल्ली। सरकार ने निजी और व्यवसायिक वाहनों के विंडस्क्रीन पर फास्टैग लगाना अनिवार्य कर दिया है। नए आदेश के अनुसार, एक दिसंबर से शो रूम से निकलने वाले वाहन फास्टैग युक्त होंगे।
वाहनों पर लगे इन फास्टैग से टोल प्लाजा पर लगे इलेक्ट्रॉनिक टोल सिस्टम (ईटीसी) टैक्स का भुगतान ऑटोमेटिक हो जाएगा। वाहनों को रुकना नहीं पड़ेगा, जिससे उनकी औसत रफ्तार में 30 फीसदी तक बढ़ोतरी होगी। साथ ही इससे टोल प्लाजा पर जाम नहीं लगेगा और प्रदूषण का स्तर कम होगा। सभी चार पहिये वाले वाहनों में यह व्यवस्था होगी। सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय ने गुरुवार को वाहनों के विंडस्क्रीन पर फास्टैग लगाना अनिवार्य करने संबंधी अधिसूचना जारी कर दी है। अधिसूचना में उल्लेख है कि एक दिसंबर 2017 से ब्रिकी होने वाले वाहनों की विंडस्क्रीन पर फास्टैग लगा होना चाहिए। यदि ऐसा नहीं है तो अधिकृत डीलर को फास्टैग लगाना होगा। इसके बाद ही वाहन शो रूम से बाहर जाएगा। एनएचएआई ने देश के सभी 400 टोल प्लाजा पर एक लेन फास्टैग के लिए बना दी है।
एप पर उपलब्ध है फास्ट टैग
टोल प्लाजा पर शेष लेन को फास्टैग से जोड़ने का कार्य तेजी से चल रहा है। सरकार का कहना है कि पुराने वाहनों के लिए फास्टैग लगाने की कवायद शुरू कर दी गई है। फास्ट टैग मोबाइल एप पर भी  उपलब्ध है, जिससे जरूरतमंद खरीद सकते हैं। इसके अलावा चुनिंदा बैंक भी फास्ट टैग बेच रहे हैं। सरकार का लक्ष्य है कि वर्ष 2019 तक 80 फीसदी वाहनों को फास्ट टैग युक्त दिया जाए।

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